छात्रावास के अनुभव का वर्णन करते हुए पिताजी को पत्र लिखें। Chatrawas ka Warnan Karte Huye patra

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अपने पिता के पास एक पत्र लिखे जिसमे अपने छात्रावास का अनुभव का वर्णन किया गया हो - छात्रावास के अनुभव का वर्णन करते हुए पिताजी को पत्र लिखें।


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पूजनीय पिताजी,
सादर प्रणाम

कुछ दिनों पूर्व ही आपका पत्र मिला था। पत्रोत्तर देने में विलंब हो गई। इसके लिए मैं क्षमा प्रार्थी हूं। पत्र में आपने मेरे छात्रावास के अनुभव के संबंध में जानने की इच्छा जताई थी। इसलिए इस पत्र में मैं अपने छात्रावास के अनुभव के संबंध में जानकारी प्रदान कर रहा हूं। -

पिताजी छात्रावास में मेरा अनुभव बहुत ही बढ़िया है यहां पर मेरे साथ रहने वाले छात्र आपस में भाई की तरह मिलजुल कर रहते हैं। छात्रावास के प्रभारी यहां के सभी बच्चों को अपने पुत्र की तरह ख्याल रखते हैं, समय पर भोजन उपलब्ध कराते हैं। साफ-सफाई पर भी उनका पूरा ध्यान रहता है। यदि मौसम खराब होने के कारण कोई छात्र बीमार हो जाता है, तो प्रभारी महोदय उसे डॉक्टर से तुरंत इलाज कराने के लिए ले कर जाते हैं। हम सभी छात्र यहां पर खुश होते ही रहते हैं और पढ़ाई करते हैं। आप मेरी तरफ से माता जी को मेरा प्रणाम कहना।

आपका आज्ञाकारी पुत्र
राकेश कुमार

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